रायपुर, 20 जनवरी 2024 : छत्तीसगढ़ विधानसभा के नवनिर्वाचित विधायकों को विधानसभा की कार्यप्रणाली एवं संसदीय प्रक्रियाओं से अवगत कराने के लिए दो दिवसीय प्रबोधन कार्यक्रम का आयोजन आज विधानसभा के प्रेक्षा गृह में आयोजित किया गया।
प्रथम सत्र के अतिथि वक्ता के रूप में उत्तर प्रदेश विधानसभा के अध्यक्ष सतीश महाना ने नवनिर्वाचित विधायकों को ध्यानाकर्षण सूचना, स्थगन प्रस्ताव एवं लोक महत्व के विषय पर अपना व्याख्यान दिया। इस मौके पर उपमुख्यमंत्री अरूण साव, संसदीय कार्य मंत्री बृजमोहन अग्रवाल, उत्तर प्रदेश विधानसभा के प्रमुख सचिव प्रदीप दुबे भी उपस्थित थे।
प्रबोधन कार्यक्रम में उत्तर प्रदेश विधानसभा के अध्यक्ष सतीश महाना ने कहा कि छत्तीसगढ़ अपने आप में एक समृद्ध राज्य है। सात राज्यों की सीमाएं छत्तीसगढ़ को छूती है। प्राकृतिक खनिज संसाधनों से भरपूर छत्तीसगढ़ में विकास की असीम संभावनाएं है। लोकतांत्रिक व्यवस्था के तहत प्रक्रिया तय है।
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सबकी सीमाएं तय है। आम जनता ने हमें चुनकर विधानसभा भेजा है। हमें उनकी अपेक्षाओं पर खरा उतरना है। जीतने के बाद जनता के विश्वास में कैसे खरा उतरना है, इस दिशा में हमें सदैव कार्य करना होगा। महाना कहा कि छत्तीसगढ़ में 50 विधायक छठवीं विधानसभा में पहली बार चुनकर आए हैं।
उन्हें जनता से मिलने के लिए समय और स्थान निर्धारित करना पड़ेगा। जनता से परस्पर संवाद भी कायम रखना पड़ेगा। जब आप विधायक चुने गए हैं, तो आप पर सब जनता की निगाह रहती है। एक चुने गए प्रतिनिधि को ना तो किसी की आलोचना की चिंता करनी चाहिए और ना ही प्रशंसा की चिंता।
उन्होंने कहा कि एक परिवार को साथ लेकर चलने में कितनी कठिनाई होती है। आपको लाखों लोगों को साथ लेकर चलने में कितनी कठिनाई हुए आप सोंच सकते हैं।
प्रबोधन कार्यक्रम में उत्तर प्रदेश विधानसभा के प्रमुख सचिव प्रदीप दुबे ने भी अपने विचार व्यक्त किए। महिला एवं बाल विकास मंत्री लक्ष्मी राजवाड़े ने आभार प्रकट किया।