अहमदाबाद : गुजरात (Gujarat) सरकार ने मंगलवार को कहा कि शहरों में वाणिज्यिक ‘गरबा’ के आयोजकों को आयोजन स्थल पर एक एंबुलेंस और एक मेडिकल टीम का इंतजाम करना होगा ताकि स्वास्थ्य संबंधी किसी भी आपात स्थिति में लोगों की तत्काल सहायता की जा सके।
स्वास्थ्य मंत्री ऋषिकेश पटेल ने बताया कि स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण विभाग ने इस आशय का परिपत्र जारी किया है। सोमवार को जारी इस परिपत्र में, निर्देश का पालन नहीं करने की स्थिति में किसी दंडात्मक प्रावधान का उल्लेख नहीं है लेकिन मंत्री ने कहा कि आयोजकों को तभी मंजूरी दी जाएगी जब वे इस निर्देश के अनुपालन का आश्वासन देंगे।
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नौ दिवसीय नवरात्रि 15 अक्टूबर को शुरू होगी जिसमें पांरपरिक नृत्य गरबा मुख्य आकर्षण होता है। पटेल गुजरात सरकार के प्रवक्ता भी हैं। उन्होंने गांधीनगर में संवाददाताओं से कहा कि इस निर्देश के पीछे की मंशा यह है कि गरबा में भाग लेने वाले को ‘रक्तचाप या सर्पदंश जैसी’ किसी आपात स्थिति में समय से उपचार उपलब्ध कराया जा सके। उन्होंने कहा कि स्वास्थ्य विभाग भी महत्वपूर्ण स्थानों पर अपने एंबुलेंस और मेडिकल दलों को तैनात करेगा।
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परिपत्र का हवाला देते हुए पटेल ने कहा कि गरबा आयोजन स्थलों के समीप सरकारी अस्पतालों एवं स्वास्थ्य केंद्रों में कार्यरत डॉक्टरों एवं अन्य चिकित्साकर्मियों को नवरात्रि के दौरान आधी रात तक ड्यूटी पर रहने को कहा गया है। हाल में ‘इंडियन मेडिकल एसोसिएशन’ (आईएमए) की अहमदाबाद शाखा ने कहा था कि परिवार में हृदयरोग की पृष्ठभूमि वाले 40 साल से अधिक उम्र के लोगों को ‘गरबा’ में जाने से पहले अपनी जांच करवा लेनी चाहिए।